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Pitru Paksha 2023: पितृ दोष मुक्ति के लिए आज से करें ये कार्य, पितृदेव होंगे प्रसन्न

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Pitru Paksha 2023: हिंदू पंचांग के अनुसार,  हर साल भाद्रपद माह के शुक्ल पक्ष की पूर्णिमा तिथि से पितृपक्ष की शुरुआत होती है. इस साल पितृपक्ष की शुरुआत 29 सितंबर हो रही है. पितृ पक्ष के दौरान पिंडदान श्राद्ध कर्म इत्यादि किए जाते हैं. मान्यता है कि पितृपक्ष के दौरान ऐसा करने से पितृ की आत्मा तृप्त होती है. (Pitru Paksha) साथ ही उनका आशीर्वाद प्राप्त होता है.

जानें पुण्य करने का भी विधान

शास्त्रों के अनुसार,  पितृपक्ष में दान पुण्य करने का भी विधान है. (Pitru Paksha) दान पुण्य करने से न सिर्फ पितृ की आत्मा को शांति मिलती है बल्कि पितृ प्रसन्न होते हैं और पितृ दोष से मुक्ति भी मिलती है. धार्मिक शास्त्रों की मानें तो पितृपक्ष की अवधि में गोदान करना बेहद शुभ माना जाता है. मान्यता है कि गौ माता का दान करने से व्यक्ति को सुख समृद्धि का आशीर्वाद प्राप्त होता है और पितरों को श्री हरि के चरणों में स्थान मिलता है.

जानें पितृपक्ष (Pitru Paksha) पर करें यह काम

  1. >>पितृ पक्ष (Pitru Paksha) में गुड़ का दान करना बहुत ही शुभ माना जाता है. ऐसा करने से पारिवारिक जीवन में मिठास बनी रहती है. पूर्वजों का आशीर्वाद बना रहता है. जीवन में तमाम तरह की परेशानियों से मुक्ति भी मिलती है.
  2. >>पितृपक्ष (Pitru Paksha) में श्राद्ध के दौरान गाय के घी का दान करना चाहिए. ऐसा करने से सुख समृद्धि की प्राप्ति होती है. इसके अलावा जिन भी जातक की कुंडली में पितृ दोष होता है. उन्हें भी ऐसा करने से कई तरह के लाभ मिलते हैं.
  3. >>पितृपक्ष (Pitru Paksha) के दौरान चावल और तिल का भी विशेष महत्व बताया गया है. पितृपक्ष में अगर आप गरीब और जरूरतमंद लोगों को गेहूं, चावल व तिल का दान करते हैं, तो इससे पितृ दोष से मुक्ति मिलेगी. साथी विभिन्न प्रकार के कार्यों में सफलता प्राप्त होगी.
  4. >>पितृपक्ष (Pitru Paksha) के दौरान धार्मिक शास्त्रों के मुताबिक, सामर्थ के अनुसार आप स्वर्ण विधान कर सकते हैं. ऐसा करने से पारिवारिक जीवन में उत्पन्न हो रहे विवाद से मुक्ति मिलेगी.

2023 Pitru Paksha Shraddha Date पितृ पक्ष 2023 श्राद्ध की मुख्य तिथियां

पूर्णिमा श्राद्ध- 29 सितंबर 2023

प्रतिपदा का श्राद्ध – 29 सितंबर 2023

द्वितीया श्राद्ध तिथि- 30 सितंबर 2023

तृतीया तिथि का श्राद्ध- 1 अक्टूबर 2023

चतुर्थी तिथि श्राद्ध- 2 अक्टूबर 2023

पंचमी तिथि श्राद्ध- 3 अक्टूबर 2023

षष्ठी तिथि का श्राद्ध- 4 अक्टूबर 2023

सप्तमी तिथि का श्राद्ध- 5 अक्टूबर 2023

अष्टमी तिथि का श्राद्ध- 6 अक्टूबर 2023

नवमी तिथि का श्राद्ध- 7 अक्टूबर 2023

दशमी तिथि का श्राद्ध- 8 अक्टूबर 2023

एकादशी तिथि का श्राद्ध- 9 अक्टूबर 2023

माघ तिथि का श्राद्ध- 10 अक्टूबर 2023

द्वादशी तिथि का श्राद्ध- 11 अक्टूबर 2023

त्रयोदशी तिथि का श्राद्ध- 12 अक्टूबर 2023

चतुर्दशी तिथि का श्राद्ध- 13 अक्टूबर 2023

सर्वपितृ मोक्ष श्राद्ध तिथि- 14 अक्टूबर 2023

जानें क्या नहीं करें पितृ पक्ष के दौरान

पहला: प्याज लहसुन-

पितृ पक्ष के दौरान पिंडदान, तर्पण या श्राद्ध कर्म करते हैं. इसके अलावा अगर संभव हो सके तो इस दौरान लहसुन और प्याज का सेवन भी नहीं करना चाहिए.

दूसरा: मांस-

पितृपक्ष के दौरान मांसाहारी भोजन भूलकर भी नहीं करना चाहिए. माना जाता है कि ऐसा करने से पूर्वज नारज होते हैं.

तीसरा:  शाकाहारी-

कई चीजें शाकाहारी ऐसी हैं जिनको पितृ पक्ष के दौरान खाने की मनाही होती है. माना जाता है कि पितृ पक्ष के दौरान खीरा, जीरा और सरसों के साग का सेवन नहीं करना चाहिए.

चौथा: पशु-पक्षियों की सेवा-

मान्यता है कि इस दौरान पशु-पक्षियों को सताना नहीं चाहिए. क्योंकि ऐसा करने से पूर्वज नाराज हो जाते हैं. ऐसे में पितृ पक्ष के दौरान  पशु-पक्षियों की सेवा करनी चाहिए.

पांचवा: मांगलिक कार्य-

मांगलिक कार्य पितृ पक्ष में निषेध माने गए हैं. कोई भी शुभ काम इन 15 दिनों तक नहीं किया जाता है. जैसे ही नवरात्रि की शुरूआत होती है वैसे ही सारे मांगलिक कार्य शुरू हो जाते हैं.

(नोट: यहां दी गई जानकारी ज्योतिष के मुताबिक है WebMorcha इसकी पुष्टि नहीं करता है)

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