शिक्षक दिवस विशेष
महासमुंद। शिक्षा के क्षेत्र में अद्वितीय योगदान के लिए महासमुंद जिले में उच्चवर्ग शिक्षक विजय शर्मा शासकीय पूर्व माध्यमिक शाला कोमाखान को आज राज्य सम्मान से नवाजा जाएगा।

एक नजर उनकी उपलब्धियों पर
आपकी शुरुवात प्राथमिक शाला लिटियादादर से की 18 साल की सेवा में 50 घर वाले ग्राम में शिक्षा के उनके प्रयास ने 52 शासकीय सेवक दिए परिणाम स्वरूप प्रत्येक घर एक शासकीय कर्मचारी का गौरव इस गांव को मिला।
स्वच्छता के क्षेत्र में निर्मल भारत अभियान के तहत गोद ले कर 2006 में शौच मुक्त, घुरवा मुक्त ग्राम बनाने में उनके योगदान को याद किया जाता है।
बाल विकास बैंक
बाल विकास बैंक की स्थापना की,12 रुपए से शुरुवात कर वर्तमान में 1.5 लाख की राशि लेनदेन शाला प्रबन्धन समिति की देखरेख में विधिवत संचालित है।
नवाचारी शिक्षक
नवाचारी गतिविधियों के कारण आपकी पहचान बनी।2009 में पूर्व माध्यमिक शाला पटपरपाली में बंजर भूमि को उपजाऊ कैसे बनाए,मुनगा की सधोरी जैसे परियोजना कार्य ने प्रकृति के प्रति समुदाय एवम स्कूल को जोड़ने का वृहद कार्यक्रम की शुरुवात की।
आपने प्रति बच्चा एक पौधा का नारा दिया 110 छात्रों ने 110 पौधे रोपे आज वृक्ष के रूप में कीर्तिमान है।जिनका टेलीविजन चैनलों में प्रसारण हुआ।
स्कूल में बोनस अंक की शुरुवात
पर्यावरण जल संरक्षण बागवानी के लिए पालको एवम छात्र के बीच प्रतिस्पर्धा के लिए विद्यालय में बोनस अंक दे कर नवाचारी प्रस्तुति दी जिसकी शुरुवात आज शासन कर रही है।
नवाचारी गतिविधियों ने छात्रों को पहुचाया राष्ट्रीय स्तर पर

विज्ञान के क्षेत्र में मॉडल एवम परियोजना कार्य ने आपके मार्गदर्शन में दो छात्रों ने राष्ट्रीय स्तर एवम 6 छात्रों ने राज्य स्तर बालवैज्ञानिक के रूप में महासमुंद जिला का प्रतिनिधित्व के साथ बाल मेला,विज्ञान मेला खेल मडई का आयोजन किया।
स्काउट व समाज सेवा
आप कब/स्काउट में एडवांस प्रशिक्षित है ब्लॉक स्तरीय कैम्प संचालन प्रशिक्षण के साथ बच्चों का टूर दर्शनीय पर्यटन स्थल की यात्राएं शिक्षण सामग्री के रूप में प्रयोग करते हैं।
समाज के विभिन्न गतिविधयों में आपका कुशल मार्गदर्शन ने सामुदायिक सहभागिता,आपसी भाईचारा सद्भावना की उपलब्धि सुअरमार गढ़,सन्डे की पाठशाला,स्वच्छ भारत,साक्षरता, विभिन्न सामाजिक कार्यक्रमो तीज त्योहार,बच्चों एवं ग्रामीणों का सम्मान जैसे कार्यो में आपकी महत्वपूर्ण सहभागिता प्रेरणादायक है।
राष्ट्रीय कार्यक्रमों में योगदान
स्कूल अध्यपन के अलावा आपने रात्रिकालिन शिक्षण (प्रौढ़ शिक्षा) में 1999 में लिटियादादर की 60 वर्षीय इंद्रा यादव ने 5 वी की परीक्षा में सफलता अर्जित की।जिनका सम्मान जिला स्तर पर हुआ। साक्षरता के क्षेत्र में परियोजना अधिकारी के रूप में आपने विकास खण्ड बागबाहरा 2012 एवम ग्राम पंचायत मोहदी 2014 को राज्य सम्मान प्राप्त हुआ।
जिला श्रोत व्यक्ति
आप विज्ञान,सामुदायिक सहभागिता, टी एल एम,ए एल एम,6 बिंदु,कौशल विकास,कबाड़ से जुगाड़,इको क्लब,शाला सुरक्षा जैसे विषयों पर श्रोत व्यक्ति के रूप में सेवाएं दी साथ ही विज्ञान संदर्शिका, प्रशिक्षण मॉड्यूल्स निर्माण ,व राज्य श्रोत व्यक्ति है।
लेखन अभिरुचि
शिक्षा के साथ लेखन में गहरी रुचि एवम इतिहास के छात्र है आपकी पुस्तक सुअरमार गढ़ का इतिहास का लेखन महासमुंद जिले का धरोहर है जिसका प्रकाशन छ ग शासन ने किया।आपकी अन्य रचनाओ में बाल गीत,यात्रा वृतांत,तीज त्योहारो पर वैज्ञानिक अवद्धारणा, कहानी के साथ जोंक नदी की घाटी पर शोध कार्य जारी है।आपने राज्य एवम राष्ट्रीय स्तर के शोध संगोष्ठी में महासमुंद जिले के इतिहास प्रस्तुत किया है आपके प्रयास ऐतिहासिक स्थलों के चिन्हाकन व सर्वेक्षण के लिए प्रोत्साहित किया है।

कार्यो का हुआ सम्मान
नवाचारी कार्यक्रमो के लिए विभिन्न संगठनों(विचार मंच बागबाहरा,शिक्षक संघ,गुरुकुल आर्य,प्रांतीय मराठा समाज,प्रांतीय सर्व ब्राह्मण समाज ) ने सम्मानित किया।साक्षरता के लिए विकास खण्ड बागबाहरा,ग्राम पंचायत मोहदी को राज्य सम्मान,मुख्यमंत्री गौरव अलंकरण, मुख्यमंत्री स्वच्छता अलंकरण,जिला स्तर पर साक्षरता, मतदाता जागरूकता एवं स्वच्छता के लिए कलेक्टर द्वारा सम्मानित किया जा चुका है।वर्तमान में महासमुंद जिला नवरत्न हैं।
चुनौती अक्सर सफलता दिलाती है, छोटे प्रयास एक दिन उपलब्धि दिलाते हैं।
विजय शर्मा
साक्षर भारत ,स्वच्छ भारत अभियान में नित नए कार्य नई पहल के साथ करने वाले जुनूनी शिक्षक हैं । छेरछेरा त्यौहार में बच्चों को एक नई दिशा के साथ प्रेरणा ” छेरछेरा ,घर के कचरा ल हेर हेरा। बहुत अच्छा संदेश स्वच्छता के लिए दिया। एक सफल नवाचारी एवम अभुनव प्रतिभा के धनी हैं, विजय कुमार शर्मा।
विश्वनाथ पाणिग्राही, स्वच्छता ,पर्यावरण ,सामाजिक कार्यकर्ता, जिला नवरत्न ,स्वच्छ भारत मिशन
Vijay is Silent worker. Umesh Agrwal, ex. Collector
निष्ठावान और नवाचारी शिक्षक है, बहुत पहले सम्मान मिल जाना चाहिए था।
हिमांशु भारती, उपसंचालक
यहां पढ़ें :http://मंदिर में चल रहा था ज्ञान दर्शन, मिली संवेदना भरी खबर, पढ़िए कुंवारी अभागन की एक रात
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