भट्ठा दलालों से त्रस्त परिवार से भाजपा नेताओं ने की भेंट, डॉ. चोपड़ा ने दिया न्याय दिलाने का आश्वासन

पूर्व विधायक डॉ. विमल चोपड़ा,

महासमुंद। बीते दिनों झलप क्षेत्र के ग्राम बनपचरी के युवक शत्रुघन खड़िया ने ज़हर सेवन कर आत्महत्या कर ली। यह घटना पुलिस की लापरवाही और ईंट भट्ठा दलालों के बढ़ते जाल को उजागर करती है। स्थानीय लोगों का आरोप है कि पटेवा थाना पुलिस की मिलीभगत से ईंट भट्ठा से जुड़े अवैधानिक दलाल सक्रिय हैं, जिनकी वजह से गरीब परिवार को आत्महत्या जैसी त्रासदी झेलनी पड़ी।

इस घटना से दुखी होकर पूर्व विधायक डॉ. विमल चोपड़ा, भाजपा पटेवा पूर्व मंडल अध्यक्ष धरम पटेल, डॉ. सोमनाथ सिन्हा, संतोष ध्रुव, अलेख ध्रुव, शोभाराम कुंभकार, भानु यादव सहित भाजपा नेताओं ने मृतक शत्रुघन के घर पहुंचकर पिता राजाराम खड़िया व परिवारजनों से मुलाकात की। उन्होंने शोक संवेदना व्यक्त करते हुए आश्वासन दिया कि गृह मंत्री से मिलकर दोषियों पर कड़ी कार्रवाई की मांग की जाएगी।


पटेवा थाना बना भ्रष्टाचार का अड्डा : डॉ. चोपड़ा

डॉ. विमल चोपड़ा ने कहा कि “पटेवा थाने का व्यवहार लगातार लोगों के प्रति अमानवीय होता जा रहा है। पूरा थाना भ्रष्टाचार का अड्डा बन चुका है, जहां आम जनता से दुर्व्यवहार और झूठे मामलों में फंसाने का काम हो रहा है।”

उन्होंने बताया कि पिछले दिनों कई गंभीर घटनाएं हुईं, जिनकी जिम्मेदारी सीधे पटेवा थाना प्रशासन पर आती है। “हाल ही में नकली नोट छापने और गांजा तस्करी से जुड़े प्रकरण में 60,000 रुपए की रिश्वत का मामला सामने आया था। एसपी द्वारा चार सिपाहियों को निलंबित किया गया, परंतु आगे की जांच नहीं की गई,” डॉ. चोपड़ा ने कहा।

उनका कहना है कि इस मामले में उस खाते की जांच जरूरी है, जिसमें यह पैसा जमा हुआ। साथ ही यह भी जांच होनी चाहिए कि बातचीत और ट्रांजैक्शन किन लोगों के बीच हुआ। “केवल निलंबन करके इतिश्री कर लेना भ्रष्टाचार पर पर्दा डालना है,” उन्होंने कहा।

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अवैध शराब बिक्री पर भी उठे सवाल

भाजपा नेताओं ने कहा कि हाल ही में बागबाहरा पुलिस द्वारा झलप क्षेत्र में एक शराब तस्कर को पकड़ा गया था। इससे यह साफ होता है कि झलप-पटेवा क्षेत्र में अवैध शराब बिक्री लगातार बढ़ रही है। “जनता की शिकायत है कि खुलेआम शराब की बिक्री हो रही है, और इसमें पुलिस अधिकारियों की संलिप्तता है,” नेताओं ने कहा।

उन्होंने कहा कि ऐसी लापरवाही से न केवल जनता परेशान है बल्कि शासन की छवि भी धूमिल हो रही है।


दो महीने से लंबित जांच से आत्महत्या

डॉ. चोपड़ा ने बताया कि मृतक शत्रुघन खड़िया ने दो माह पूर्व एसपी को शिकायत की थी कि उसके साथ अत्याचार हो रहा है। इस शिकायत को पटेवा थाना भेजा गया, लेकिन जांच अधिकारी और थानेदार ने किसी प्रकार की कार्रवाई नहीं की। “ऐसा प्रतीत होता है कि जांच अधिकारी दोषियों से मिल गया था, जिसके कारण मामला लंबित रहा और युवक को आत्महत्या करनी पड़ी,” उन्होंने कहा।

उन्होंने यह भी कहा कि यदि समय पर जांच होती, तो युवक की जान बचाई जा सकती थी और दोषियों पर कार्रवाई भी हो जाती।


ढाबे में डीजल चोरी, शिकायतकर्ता गिरफ्तार

भाजपा नेताओं ने एक अन्य घटना का भी उल्लेख किया — “हाईवे के एक ढाबे में डीजल चोरी करते हुए ग्रामीणों ने चोर को पकड़कर पुलिस को सौंपा, लेकिन पटेवा थाने ने उल्टा शिकायतकर्ताओं को ही गिरफ्तार कर जेल भेज दिया और चोरों को संरक्षण दिया,” उन्होंने बताया।


गृह मंत्री से मिलकर मांग होगी कार्रवाई की

भाजपा नेताओं ने कहा कि पटेवा थाने में दुर्व्यवहार और घूसखोरी की दर्जनों शिकायतें हैं। इन सबकी निष्पक्ष जांच होनी चाहिए।
डॉ. चोपड़ा ने कहा — “हम शीघ्र ही गृह मंत्री से मिलकर मांग करेंगे कि पटेवा थानेदार को तत्काल निलंबित किया जाए, भ्रष्टाचार और रिश्वतखोरी के मामलों में एफआईआर दर्ज कर दोषियों को जेल भेजा जाए।

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